मणिपुर हिंसा मामलों की जांच एनआईए को सौंपी, सुरक्षा बढ़ाने के निर्देश
New Delhi / Manipur
मणिपुर में हालिया हिंसा से जुड़े तीन महत्वपूर्ण मामलों की जांच अब राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) को सौंप दी गई है। गृह मंत्रालय के निर्देशों के बाद, एनआईए ने मणिपुर पुलिस से यह जिम्मेदारी ली है, क्योंकि इन घटनाओं ने राज्य में व्यापक अशांति और कई लोगों की मौतें घटी हैं। इनमें एक मामला जिरीबाम इलाके में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) और कुकी उग्रवादियों के बीच गोलीबारी का है, जिसमें 10 कुकी उग्रवादी मारे गए। दूसरा मामला जिरीबाम में छह लोगों के अपहरण और हत्या का है, जिनके शव बाद में बरामद हुए।
गृह मंत्रालय ने इन मामलों को एनआईए को सौंपते हुए कहा कि इनकी जांच प्रभावी तरीके से की जानी चाहिए।
मणिपुर में कुकी-जो-हमार और मैतेई समुदायों के बीच जारी हिंसा ने सार्वजनिक व्यवस्था को गंभीर रूप से प्रभावित किया है। राज्य में सुरक्षा स्थिति नाजुक बनी हुई है, जिसके चलते गृह मंत्रालय ने 2,000 केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (सीएपीएफ) की अतिरिक्त तैनाती के निर्देश दिए हैं।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने भी मणिपुर में सुरक्षा स्थिति का आकलन करने के लिए वरिष्ठ अधिकारियों के साथ उच्च स्तरीय बैठक की।
हिंसा की पुनरावृत्ति रोकने और शांति बहाल करने के लिए सुरक्षा बलों को विशेष कदम उठाने का निर्देश दिया गया है, और सरकार ने लोगों से शांति बनाए रखने और अफवाहों से बचने की अपील की है।